भारत के सबसे बड़े सार्वजनिक क्षेत्र के बैंक, भारतीय स्टेट बैंक (SBI) ने वित्तीय वर्ष 2024-25 (FY2025) के लिए सरकार को ₹8,076.84 करोड़ का डिविडेंड चेक सौंपा है। यह चेक SBI के चेयरमैन सीएस सेट्टी ने सोमवार को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को सौंपा।
यह डिविडेंड पिछले साल की तुलना में काफी अधिक है, जब सरकार को SBI से ₹6,959 करोड़ का लाभांश मिला था। डिविडेंड की यह वृद्धि सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों की वित्तीय मजबूती का संकेत देती है, खासकर ऐसे समय में जब देश की अर्थव्यवस्था वैश्विक अस्थिरता से जूझ रही है।
Smt @nsitharaman receives a dividend cheque of Rs 8076.84 crore for FY 2024-25 from Shri CS Setty, Chairman – @TheOfficialSBI. pic.twitter.com/y5rfZHTKAV
— Nirmala Sitharaman Office (@nsitharamanoffc) June 9, 2025
FY2025 की चौथी तिमाही के नतीजे: मुनाफा घटा, लेकिन NPA में सुधार
वित्त वर्ष 2025 की चौथी तिमाही (जनवरी-मार्च 2025) में SBI का नेट प्रॉफिट 10% घटकर ₹18,643 करोड़ पर आ गया, जबकि पिछले वर्ष इसी अवधि में यह अधिक था।
हालांकि, नेट इंटरेस्ट इनकम (NII) में 2.7% की बढ़त दर्ज की गई, जो ₹42,775 करोड़ रही। इसका मतलब है कि बैंक की ब्याज से होने वाली आय में मामूली वृद्धि हुई है।
एसेट क्वालिटी में शानदार सुधार
SBI की ग्रॉस NPA (Gross Non-Performing Assets) में सुधार देखने को मिला है। अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में यह जहां 2.07% था, वहीं जनवरी-मार्च तिमाही में घटकर 1.82% पर आ गया।
नेट NPA भी 0.53% से घटकर 0.47% पर आ गया है। यह बैंक की मजबूत रिकवरी और रिस्क मैनेजमेंट रणनीति का नतीजा है।
- प्रावधान (Provisions) बढ़कर ₹6,442 करोड़ हो गए, जो पिछले साल इसी अवधि में ₹1,608 करोड़ थे।
- प्रावधान कवरेज अनुपात (Coverage Ratio) में भी 19 बेसिस प्वाइंट्स का सुधार हुआ है और यह अब 92.08% पर पहुंच गया है।
- स्लिपेज अनुपात (Slippage Ratio) में 7 बेसिस प्वाइंट्स की गिरावट दर्ज की गई है, जो अब 0.55% है।
शेयरधारकों को भी बड़ा लाभ: ₹15.9 प्रति शेयर डिविडेंड
SBI के बोर्ड ने FY2025 के लिए शेयरधारकों को ₹15.9 प्रति शेयर डिविडेंड देने की घोषणा की है। यह खासकर रिटेल निवेशकों और लंबी अवधि के शेयरहोल्डर्स के लिए एक सकारात्मक संकेत है।
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सरकार की कमाई का मजबूत स्रोत बना SBI
SBI का यह डिविडेंड सरकार की राजस्व प्राप्तियों में एक महत्वपूर्ण योगदान देता है। सार्वजनिक क्षेत्र के बैंक, विशेषकर SBI, केंद्र सरकार के लिए नॉन-टैक्स रेवेन्यू के अहम स्रोत हैं। ऐसे डिविडेंड्स से सरकार को वित्तीय योजनाओं और सामाजिक कल्याण योजनाओं के लिए अतिरिक्त संसाधन मिलते हैं।
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वित्तीय मजबूती के साथ सरकार को बड़ा लाभ
SBI द्वारा ₹8,076 करोड़ का डिविडेंड भुगतान यह दर्शाता है कि सार्वजनिक क्षेत्र के बैंक मजबूत वित्तीय स्थिति में हैं और सरकारी योजनाओं में सक्रिय भागीदार बने हुए हैं।
हालांकि FY2025 की अंतिम तिमाही में लाभ में कमी आई है, लेकिन NPA और स्लिपेज जैसे संकेतकों में सुधार और डिविडेंड की बढ़ोतरी बैंक की विश्वसनीयता और प्रदर्शन का प्रमाण है।
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