मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान को हाल ही में एअर इंडिया की एक फ्लाइट में यात्रा के दौरान टूटी और धंसी हुई सीट मिली, जिससे उन्हें असुविधा का सामना करना पड़ा। इस घटना पर कांग्रेस ने तंज कसते हुए केंद्र सरकार पर हमला बोला और इसे सरकार की अवयवस्था और कुप्रबंधन का प्रतीक बताया।

क्या है पूरा मामला?
शिवराज सिंह चौहान ने खुद इस मुद्दे को उठाते हुए सोशल मीडिया पर ट्वीट किया और कहा, “मैंने एअर इंडिया की फ्लाइट एआई 436 में टिकट बुक किया था और मुझे सीट क्रमांक 8-सी आवंटित हुई। जब मैं जाकर सीट पर बैठा तो वह टूटी और अंदर धंसी हुई थी, जिससे बैठना बहुत तकलीफदेह था। यात्रियों से पूरा पैसा वसूलने के बाद भी उन्हें इस तरह की खराब और कष्टदायक सीट दी जा रही है, जो कि पूरी तरह अनैतिक है।”
उनकी इस शिकायत के बाद यह मुद्दा चर्चा का विषय बन गया और कांग्रेस ने इस पर तीखी प्रतिक्रिया दी।
कांग्रेस ने क्या कहा?
कांग्रेस ने मोदी सरकार को घेरते हुए कहा, “मोदी सरकार ने हर सेक्टर का भट्ठा बैठा दिया है। चाहे वह रेलवे हो या एयरलाइंस, यात्री हर जगह परेशान हैं। लोग शिकायत करते रहते हैं, वीडियो बनाते हैं, लेकिन कोई सुनवाई नहीं होती। अब जब खुद शिवराज सिंह चौहान को दिक्कत हुई है तो ट्वीट कर रहे हैं। हो सकता है इस पर एक्शन भी लिया जाए, लेकिन आम जनता की परेशानियां जस की तस बनी रहेंगी।”
कांग्रेस ने आगे कहा, “समस्या केवल सीट की नहीं है, बल्कि पूरे सिस्टम की है। जब सरकार का पूरा ध्यान केवल प्रचार और ‘सब चंगा सी’ के नारे पर रहेगा, तो ज़मीनी हकीकत यही होगी कि जनता परेशान होगी।”
विपक्ष सरकार पर क्यों हमलावर है?
एअर इंडिया की इस घटना को लेकर विपक्ष सरकार पर हमलावर है। कांग्रेस ने सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि “सरकार बड़े-बड़े दावे तो करती है, लेकिन हकीकत यही है कि यात्री परेशान हैं और व्यवस्था चरमराई हुई है।”
कांग्रेस प्रवक्ता ने कहा, “अगर एक केंद्रीय मंत्री को इस तरह की बदहाल सीट मिल सकती है, तो आम यात्रियों की स्थिति क्या होगी?”
यात्रियों की बढ़ती शिकायतें
देश में हवाई यात्रा अब कोई विलासिता नहीं रही, बल्कि यह एक आवश्यकता बन चुकी है। लेकिन लगातार मिल रही शिकायतें यात्रियों के लिए परेशानी का सबब बनी हुई हैं। कुछ प्रमुख मुद्दे जो यात्रियों ने उठाए हैं:
- एयरलाइन की खराब सेवाएं – सीटें खराब, सफाई की कमी।
- फ्लाइट की देरी – समय पर उड़ान नहीं भरती।
- ओवरबुकिंग की समस्या – कई यात्रियों को टिकट बुक होने के बावजूद फ्लाइट में जगह नहीं मिलती।
- उच्च किराया और निम्न गुणवत्ता – टिकट महंगे होते जा रहे हैं, लेकिन सुविधाएं घटती जा रही हैं।
क्या होगा आगे?
शिवराज सिंह चौहान की इस घटना के बाद एअर इंडिया की सेवाओं पर नए सिरे से बहस शुरू हो गई है। यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या सरकार और एयरलाइन इस मुद्दे को गंभीरता से लेगी या इसे भी नजरअंदाज कर दिया जाएगा।
फिलहाल, यह घटना हवाई यात्रियों के लिए एक बड़ा सबक है कि भले ही आप आम नागरिक हों या बड़े नेता, खराब सेवाओं का सामना सभी को करना पड़ सकता है।
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